अयोध्या को मिलेगा एक और तोहफा,दशरथ-राम और लक्ष्मण के बाद बनेगा 20 किलोमीटर लंबा भरत पथ, 900 करोड़ रुपये होगी लागत

अयोध्या को मिलेगा एक और तोहफा,दशरथ-राम और लक्ष्मण के बाद बनेगा 20 किलोमीटर लंबा भरत पथ, 900 करोड़ रुपये होगी लागत

21 May 2025 |  16

 

अयोध्या।राम नगरी अयोध्या में पग-पग पर आस्था की गूंज सुनाई देती है।अब रामनगरी को एक और तोहफा मिलने जा रही है।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अगुवाई में राम पथ, भक्ति पथ और जन्मभूमि पथ के बाद अब भरत पथ का तोहफा मिलने जा रहा है।भरत पथ से रामलला के भाई भरत की तपोस्थली भरतकुंड को सीधे जोड़ा जाएगा।

 

भरत पथ की लागत लगभग 900 करोड़ रुपए आएगी।लोक निर्माण विभाग ने इसकी डीपीआर तैयार करके मुख्यालय को भेजा है।स्वीकृति मिलते ही भरत पथ का निर्माण कार्य शुरू हो जाएगा।भरत पथ 20 किलोमीटर का  होगा,भरत पथ रानोपाली रेलवे क्रॉसिंग से शुरू होगा,जो विद्याकुंड और दर्शननगर होते हुए प्रयागराज हाईवे पर भरतकुंड तक जाएगा।

 

भरत पथ को न केवल धार्मिक महत्व से जोड़कर देखा जा रहा है,बल्कि इसकी डिजाइन भी अत्यंत आधुनिक और भव्य होगी।भरत पथ के दोनों तरफ 9-9 मीटर चौड़ाई और बीच में 2.5 मीटर का डिवाइडर बनेगा।भरत पथ पर आकर्षक दूधिया रोशनी की भी व्यवस्था होगी,रात के समय भरत पथ पर दिव्य छटा बिखरेगी।

 

भरतकुंड का रामकथा में महत्वपूर्ण स्थान है। मान्यता है कि यहां भगवान राम के भाई भरत ने राम के वनवास से लौटने तक चौदह वर्ष तक तपस्या की थी। भगवान राम ने वनवास से लौटने पर यहीं पिता राजा दशरथ का पिंडदान किया था। यहां पौराणिक महत्व का सरोवर भी है।ये स्थान आज भी श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र है और भरत पथ के निर्माण से यहां तक की यात्रा और भी सरल और सहज होगी।

 

बता दें कि योगी सरकार रामनगरी को विश्वस्तर पर धार्मिक नगरी के रूप में स्थापित करने के लिए लगातार प्रयासरत है। राम मंदिर निर्माण के बाद से श्रद्धालुओं की संख्या में बेतहाशा इजाफा हुआ है।योगी सरकार द्वारा किए जा रहे विकास कार्यों से न केवल धार्मिक अनुभव समृद्ध होगा, बल्कि रामनगरी की सांस्कृतिक विरासत भी और अधिक गौरवशाली बनेगी।रामनगरी आने वाले पर्यटक और श्रद्धालु भरतकुंड भी दर्शन-पूजन के लिए जाते हैं। प्रयागराज और पूर्वांचल से आने वाले श्रद्धालु इस धार्मिक स्थान पर माथा टेकते हैं।

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